प्रतिरोध
जरूरत पढ़ने-लिखने या
बुद्धिजीवी बनने की
जानने की खातिर उस विनाश को
हो रहा जो आज पर्यावरण का
छोड़नी थी बस अपने
हिस्से की सुख-सुविधा
हासिल होती जो उस विनाश से
प्रताड़ित होने का भय छोड़ कर
करना था विरोध सरकार का
खतरा उठा कर भी
कहलाने का राष्ट्रद्रोही
रोकना था सत्ता को
करने से विनाश पर्यावरण का।
जुटा नहीं सके लेकिन साहस हम
छोड़ने की सुख-सुविधा
सत्ता के खिलाफ नहीं जा सके
करते हुए बौद्धिक जुगाली बस
बने रहे सहभागी लूट में।
ग्रेटा, दिशा रवि जैसे
बच्चे नई पीढ़ी के
दिखा रहे हमको आज आइना
इतना तो कठिन न था
साफ-साफ दीखना विरोध में
उंगली उठाना सरकार पर।
पाखण्डी बन के ही
रह तो नहीं गये कहीं
सारे बुद्धिजीवी हम!
रचनाकाल : 20 फरवरी 2021
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